प्रदेश में नई शिक्षा नीति को लागू करना चुनौती, असिस्टेंट प्रोफेसर व जेबीटी के पद रिक्त
प्रदेश सरकार ने हालांकि सत्ता में आते ही शिक्षकों के खाली पदों को भरने की बात कही थी, लेकिन वर्तमान में स्थिति यह है कि प्रदेश के उच्च और प्रारंभिक शिक्षा विभाग में विभिन्न श्रेणियों के 17379 पद खाली चल रहे हैं।

ब्यूरो। रोज़ाना हिमाचल
प्रदेश सरकार ने हालांकि सत्ता में आते ही शिक्षकों के खाली पदों को भरने की बात कही थी, लेकिन वर्तमान में स्थिति यह है कि प्रदेश के उच्च और प्रारंभिक शिक्षा विभाग में विभिन्न श्रेणियों के 17379 पद खाली चल रहे हैं। इनमें 50 फीसदी पदों पर भी अभी तक भर्तियां नहीं हुई हैं। ऐसे में स्कूलों में नया शैक्षणिक सत्र शुरू होने वाला है। यदि जल्द ही इन पदों को नहीं भरा गया, तो आने वाले समय में बच्चों की पढ़ाई पर इसका सीधा असर पड़ेगा। प्रदेश के स्कूलों में वर्तमान में सी एंड वी कैटेगरी और जेबीटी के सबसे ज्य़ादा पदों पर रिक्तियां चल रही हैं। इसमें सी एंड वी के 4946, जबकि जेबीटी के 4109 पद खाली चल रहे हैं। इन दोनों श्रेणी में अभ्यर्थी लगातार प्रदेश सरकार से यह मांग उठा रहे हैं कि कमीशन के आधार पर उनकी भर्तियां की जाएं, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। साथ ही कालेजों की बात की जाए, तो कॉलेजों में भी प्रिंसीपल के 25 और असिस्टेंट प्रोफेसर के 551 पदों पर रिक्त पड़े हैं। प्रदेश में नई शिक्षा नीति को नए सत्र से प्रभावी ढंग से लागू किया जाना है। कालेजों में खासतौर पर नई शिक्षा नीति के बड़े बदलाव होने हैं। ऐसे में यदि नई शिक्षा नीति पर काम करना है, तो सबसे पहले खाली पदों को भरना होगा।
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