प्रसिद्ध भारतीय महिला चित्रकार गोगी सरोज पाल का दिल्ली में निधन
विख्यात क्रांतिकारी एवं साहित्यकार पद्म भूषण यशपाल जी की भतीजी विख्यात कलाकार गोगी सरोज पाल का 27 जनवरी को दिल्ली के एक अस्पताल में 79 वर्ष की आयु में देहांत हो गया।
रूहानी नारयल। नादौन
विख्यात क्रांतिकारी एवं साहित्यकार पद्म भूषण यशपाल जी की भतीजी विख्यात कलाकार गोगी सरोज पाल का 27 जनवरी को दिल्ली के एक अस्पताल में 79 वर्ष की आयु में देहांत हो गया। जानकारी देते हुए प्रसिद्ध लेखक एवं अखिल भारतीय सृजन परिषद् के अध्यक्ष वीरेन्द्र शर्मा वीर ने बताया कि गोगी का जन्म वर्तमान उत्तर प्रदेश के नियोली शहर में 30 अक्टूबर 1945 के दिन विख्यात क्रांतिकारी एवं साहित्यकार धर्मपाल के घर हुआ था, वे अपने पांच भाई बहनों वीणा पाणी, अनल पाल , गोगी सरोजपाल, माला पाल, अमल में तीसरे नंबर की संतान थीं । इन्होंने अपने हिमाचली-माइके के परिजनों के साथ हमेशा मधुर व गूढ़ संबंध बनाए रखकर पूरे प्रयासों से उन्हें निभाया। गोगी सरोज पाल भारत की एक अग्रणी कलाकार थीं। उन्होंने 1961-1962 तक राजस्थान के वनस्थली में कला महाविद्यालय में अध्ययन किया व आर्ट कॉलेज लखनऊ से चित्रकला में डिप्लोमा हासिल किया व सन 1968 में आर्ट कॉलेज दिल्ली से चित्रकला में डिग्री हासिल की। 1962-67 में नासिक के सरकारी कला एवं शिल्पकला काॅलेज में चित्रकला विषय में अध्यापन कार्य भी किया तथा इसके बाद पॉलिटेक्निक कॉलेज दिल्ली में भी व्याख्याता के रूप में अपनी सेवाएं दीं अंततः वह अपने स्नातकोत्तर अल्मा मेटर, कॉलेज ऑफ आर्ट , नई दिल्ली लौट आईं जहां उन्होंने 1975-76 में एक वर्ष तक पढ़ाया। उन्होंने 1979-80 और 1982-83 में जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय, नई दिल्ली के कला विभाग में भी व्याख्याता के रूप में सेवाएं दीं। उनकी शादी उनके साथी व्याख्याता विश्व विख्यात कलाकार वेद नायर से हुई समय समय पर उनके बने चित्रों की प्रदर्शनियां 1978, 1979, 1981 अखिल भारतीय ग्राफिक प्रिंट प्रदर्शनी, देश-विदेश के विभिन्न भागों में लगती रही।
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